उत्तरकाशी में नाबालिग छात्रा को लव जिहाद के चलते भगाने के मामले में लोगों का आक्रोश बढ़ता ही जा रहा है। पिछले सप्ताह से लगातार व्यापारी समुदाय विशेष के दुकानदारों को हटाने की मांग कर रहे हैं। वहीं बाहर से आकर यहां रहने और व्यापार करने वालों के सत्यापन की मांग भी व्यापारियों ने तेज कर दी है। इन्हीं मांगों को लेकर शनिवार को उत्तरकाशी में बड़ी संख्या में जनसमुदाय सड़कों पर उतर आया। इस दौरान यमुना घाटी की दुकानें पूरी तरह से बंद रही।उत्तरकाशी के पुरोला में पिछले सप्ताह एक नाबालिग छात्रा को मुस्लिम समुदाय का युवक उवैद खान पुत्र अहमद और उसका साथी जितेंद्र सैनी खरसाड़ी क्षेत्र से भगाकर ले जा रहे थे। स्थानीय लोगों ने इन लोगों को नौगांव मोटर मार्ग के पेट्रोल पंप के पास पकड़ लिया। बात खुलने पर लोगों ने इन दोनों युवकों को पुलिस के हवाले कर दिया था। शनिवार को यमुना घाटी हिंदू जागृति संगठन के आह्वान पर व्यापारियों ने यमुना घाटी के व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद कर सड़कों पर उतर कर जुलूस निकाला। इस दौरान प्रदर्शनकारियों की संख्या देखकर पुलिस के भी पसीने छूट गए। पुरोला मामले को लेकर लोगों में भारी आक्रोश दिखाई दे रहा है। व्यापारियों ने नगर में रैली निकालते हुए प्रदर्शन किया और समुदाय विशेष के दुकानदारों के बैनर और साइन बोर्ड तोड़ दिए।उन्हें रोकने के लिए पुलिस को भी खासी मशक्कत करनी पड़ी। प्रदर्शनकारियों द्वारा मांग की जा रही है कि नगर में आकर बसे बाहरी लोगों का सत्यापन तेजी से किया जाए। अतिक्रमण कर लगाई जा रही दुकानों को हटाया जाए और समुदाय विशेष के व्यापारियों को नगर से जाने की चेतावनी भी व्यापारियों ने दी है। नगर पालिका में बाहरी व्यापारियों की सही जानकारी ना मिलने पर व्यापारियों ने शुक्रवार को घेराव भी किया था। नाबालिग को भगाने की घटना के बाद से यमुना घाटी आंदोलन से उबल रही है। रोजाना व्यापारी अपने प्रतिष्ठान बंद कर सड़कों पर उतर कर जुलूस निकाल रहे हैं और बाहरी लोगों को यहां से हटाने की मांग की जा रही है।
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December 22, 2024