हरिद्वार में ऊपरी खंड गंगनहर में जलस्तर बढ़ने के कारण नहर ओवरफ्लो हो गई। जिस कारण प्रेम नगर आश्रम पुल के समीप बना बरसाती नाला ओवरफ्लो होकर बैक हो गया। शहर की पॉश कॉलोनी नया हरिद्वार की आंतरिक सड़कों पर नहर का पानी भर गया। वहीं, हरिद्वार के अधिकांश घाट जलस्तर बढ़ने से डूब गए। सूचना मिलने पर उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने नहर में जल की निकासी कम की।जिसके बाद क्षेत्र में जलभराव से जनता को निजात मिल सकी। बिना पूर्व सूचना दिए सिंचाई विभाग ने गंगनहर में दोगुना पानी छोड़ दिया था। अन्य दिनों में गंगनहर में छह से सात हजार क्यूसेक पानी रहता है। सोमवार शाम को गंगनहर में 13 हजार क्यूसेक पानी था। सोमवार को हरिद्वार में गंगनहर में क्षमता के करीब पानी छोड़ दिया गया। गंगनहर की क्षमता 13.5 हजार क्यूसेक है।दोपहर के समय नहर में क्षमता से अधिक जल की निकासी होने से न्यू हरिद्वार कॉलोनी की कई सड़कों पर नहर का पानी आ गया। मेरठ और कानपुर में अतिरिक्त जल की मांग की गई थी। निचले इलाकों के लिए करीब 13 हजार क्यूसेक अतिरिक्त जल मांगा गया है। मांग के अनुरूप उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग ने अतरिक्त जल छोड़ दिया।लेकिन पहाड़ों में हो रही बारिश के कारण गंगनहर पहले ही अपनी जल की पूर्ण क्षमता के साथ बह रही थी। अतिरिक्त जल छोड़े जाने के बाद प्रेम नगर आश्रम पुल के पास गंगनहर का पानी सड़कों पर आ गया। न्यू हरिद्वार कॉलोनी की सड़कों का लेवल मुख्य सड़क से दो फीट नीचे है। लेवल नीचे होने की वजह से भी सड़कों पर नहर का पानी भर गया।
हरिद्वार के अधिकांश घाट गंग नहर का जल स्तर बढ़ने से डूब गए। घाटों के लेवल से ऊपर गंगनहर बहने लगी। गंगा घाटों पर पानी ही पानी नजर आने लगा। अचानक बढ़े जल स्तर के कारण घाटों पर मौजूद जनता ने भी घाट खाली कर दिए। करीब तीन से चार घंटे बाद जल स्तर थोड़ा कम हो सका।