एक मैच में कोई टीम पहली पारी में 400 के करीब का स्कोर बनाए और फिर दूसरी पारी में पूरी तरह फ्लॉप हो जाए तो हर कोई हैरान तो होगा. ऐसा हुआ रणजी ट्रॉफी के मैच में. नागालैंड टीम के नाम एक खराब रिकॉर्ड दर्ज हो गया. उसने पहली पारी में उत्तराखंड के खिलाफ 389 रन बनाए. इसके बाद दूसरी पारी में टीम सिर्फ 25 रन पर ऑलआउट हो गई. उत्तराखंड के खिलाफ रणजी ट्रॉफी के मैच में महज 25 रन पर ऑलआउट होकर नागालैंड के नाम शर्मनाक रिकॉर्ड दर्ज हो गया. यह इस घरेलू क्रिकेट टूर्नामेंट के इतिहास में यह छठा सबसे कम स्कोर है. पिछले 41 साल में यह दूसरा न्यूनतम स्कोर है. इससे पहले रणजी ट्रॉफी 2010-11 में हैदराबाद की टीम राजस्थान के खिलाफ सिर्फ 21 रन के स्कोर पर ऑलआउट हो गई थी. साल 1934-35 के सीजन में साउथ पंजाब की टीम उत्तर भारत के खिलाफ सिर्फ 22 रन पर सिमट गई थी. जम्मू-कश्मीर की टीम 1960-61 में दिल्ली और 1977-78 में हरियाणा के खिलाफ महज 23 रन पर ढेर हो गई थी. आजादी के पहले सिंध की टीम भी साउथ पंजाब के खिलाफ इसी स्कोर (23) पर आउट हुई थी.नागालैंड को सोविमा में खेले गए ग्रुप-ए के इस मैच में 174 रनों से हार झेलनी पड़ी. उत्तराखंड ने 282 रन बनाए जिसके बाद नागालैंड ने पहली पारी में 389 रन बनाए. इस तरह उसे पहली पारी के आधार पर 107 रन की बढ़त मिली. उत्तराखंड ने 7 विकेट पर 306 रन बनाकर पारी घोषित कर दी जिससे नागालैंड को जीत के लिए 200 रन का लक्ष्य मिला. दूसरी पारी में मेजबान टीम 25 रन पर ऑलआउट हो गई. उत्तराखंड के लिए स्वप्निल सिंह ने कमाल का प्रदर्शन किया. उन्होंने पहली पारी में 47 रन देकर 5 विकेट लिए जबकि दूसरी पारी में उन्होंने 4 विकेट झटके. दूसरी पारी में मयंक मिश्रा ने सिर्फ 4 रन देकर 5 विकेट अपने नाम किए. स्वप्निल को प्लेयर ऑफ द मैच चुना गया. उन्होंने 88 रनों की नाबाद पारी भी खेली. नागालैंड का टूर्नामेंट में अगला मुकाबला 20 दिसंबर से उत्तरप्रदेश से होना है. ग्रुप-ए का यह मैच नागालैंड के सोविमा में खेला जाएगा.