
प्रदेश में नजूल भूमि को फ्री होल्ड कराने पर फिलहाल रोक लगा दी गई है। उच्च न्यायालय के दिशा निर्देशों के क्रम में शासन ने यह कदम उठाया है। इससे उन व्यक्तियों को झटका लगा है, जो नजूल भूमि को फ्री होल्ड कराने की आस लगाए थे।शहरी क्षेत्रों में नजूल भूमि पर काबिज लोग इस भूमि को फ्री होल्ड कराकर उन्हें मालिकाना हक देने की मांग उठाते रहे हैं। इसी क्रम में वर्ष 2009 में नजूल नीति लाई गई थी। बाद में यह मामला हाई कोर्ट में चला गया। वर्ष 2018 में अदालत ने इस नीति को असंवैधानिक करार दिया था।वर्ष 2021 में सरकार ने हाई कोर्ट के इस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनोती दी। सुप्रीम कोर्ट ने इस पर स्टे दे दिया था, जिससे सरकार को राहत मिली। इसके पश्चात सरकार नई नजूल नीति लेकर आई। यह नीति एक साल के लिए थी, जिसे बाद में वर्ष 2023 तक के लिए बढाया गया। हाल में ही हाईकोर्ट ने नजूल भूमि को फ्री होल्ड कराने की प्रक्रिया पर रोक के आदेश दिए। अब इस क्रम में शासन ने भी इसके आदेश जारी कर दिए हैं। इस बारे मंडलायुक्तों और जिलाधिकारियों को भी निर्देश जारी किए गए हैं।