
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा, वन नेशन वन इलेक्शन की व्यवस्था देशभर में लागू होनी चाहिए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद अध्यक्षता में गठित कमेटी की पहल का उन्होंने स्वागत किया।कहा, प्रधानमंत्री मोदी ने वन नेशन वन इलेक्शन की जो अवधारणा दी है, इसका हम स्वागत करते हैं। देश में यह व्यवस्था लागू होनी चाहिए। कहा, प्रधानमंत्री की हमेशा देश को विकास की ओर ले जाने और एक भारत-श्रेष्ठ भारत की सोच है। दुनिया का नेतृत्व भारत करे, उस दिशा में उनकी वन नेशन वन इलेक्शन की अवधारणा देश को उन्नति की ओर ले जाने वाली है।इसके लिए उन्होंने रामनाथ कोविंद जैसे अनुभवी व्यक्ति को समिति का अध्यक्ष बनाया है। कोविंद राष्ट्रपति रहे हैं। उनका इस पद को स्वीकार करना, बहुत बड़ी बात है। हम इसका स्वागत करते हैं। कहा, इस तरह की व्यवस्था देशभर में लागू होनी चाहिए। केंद्र सरकार की ओर से एक देश एक चुनाव के लिए समिति के गठन पर प्रदेश कांग्रेस ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा, वर्तमान हालातों और बिना व्यापक तैयारी के यह मुमकिन नहीं है। कांग्रेस ने पूछा, बिना तैयारी के आखिर एक देश एक चुनाव की सरकार को अचानक क्यों जरूरत क्यों पड़ गई। ऐसा लगता है कि भाजपा इंडिया गठबंधन से डरी हुई है। यह मुद्दों से ध्यान हटाने की कोशिश है। माहरा ने कहा, सारी संसदीय मान्यताओं को यह सरकार तोड़ रही है। अगर विशेष सत्र बुलाना था तो सरकार को सभी विपक्षी पार्टियों से कम से कम अनौपचारिक तौर पर बात करनी चाहिए थी।
कहा, आजादी के बाद वर्ष 1952, 1957, 1962 और 1967 में लोकसभा और विधानसभा के चुनाव एक साथ ही होते थे, लेकिन वर्ष 1968 और 1969 में कई विधानसभाएं समय से पहले ही भंग कर दी गईं। उसके बाद वर्ष 1970 में लोकसभा भी भंग कर दी गई। इस वजह से एक देश-एक चुनाव की परंपरा टूट गई।
कहा, अगर सरकार को इस दिशा में आगे बढ़ना है तो संसद में इसके लिए संविधान संशोधन बिल लाना होगा। इसकी मंजूरी के बाद ही इस दिशा में आगे बढ़ा जा सकता है। कहा, वर्ष 1999, 2015 और 2018 में तीन बार लॉ कमीशन ने इस पर अपनी रिपोर्ट दी। वहीं, इससे पूर्व वर्ष 2016 में संसदीय समिति भी अपनी अंतरिम रिपोर्ट दे चुकी है।